Friday, November 26, 2010

हम हिन्दुस्तानी तो एक दूसरे की देखा देखी करते हैं

इस चिट्ठी में, कुफरी और वहां चल रही दंगल प्रतियोगिता का वर्णन है। 

हम लोगों ने 'कुफरी हॉलीडे रिज़ॉर्ट' में कॉफ़ी पी और फिर पैदल ऊपर गये, जहां पर बर्फ में स्कीइंग होती है। वहां ज्यादातर लोग घोड़े पर ही जा रहे थे। शायद हम ही ऎसे थे जो पैदल जा रहे थे। घोड़े, कुछ पहले से शुरू होते है। वे आने जाने के लिए २५०/-रुपया लेते हैं। 



कुफरी में ठंढक में बर्फ जमी रहती है और  स्नो  स्कीइंग  होती है। 

वहां एक दंगल हो रहा था। इस दंगल में उत्तर भारत से और नेपाल से जाने माने लोग दंगल करने आये थे। कुफरी सठिया गांव के अन्दर आती है। इस दंगल को, सठिया  गांव  पंचायत  ने आयोजित किया था। इसमे अलग अलग श्रेणी के लिए दो लाख रूपये का पुरस्कार भी था। 

इस दंगल में कुछ ड्रम बजाने वाले लोग भी आये थे।  कुश्ती के दौरान और बाद में वे चारों ओर ड्रम बजाते हुए घूमते थे। लोग आनन्द ले रहे थे। 


यहां पर मेरी मुलाकात लायक राम से हुई। वे उस ग्राम पंचायत के प्रधान के भाई है। उन्होंने बताया,
'यहां पर सारी रोशनी सूर्य ऊर्जा से है। इस तरह के  लगभग ५० बल्ब हैं जो कि २०० वॉट के हैं।  ग्राम पंचायत ने इसके लिए ७,५००/-रुपया दिया है जब कि बाजार में इसका दाम ४५,००० से  ५०,००० रुपया है। बाकी पैसा सरकार से अनुदान मिला है। बैटरी लगभग साल भर चलती है।  बैटरी में  तीन महीने में एक बार डिस्टिल वाटर डालना पड़ता है।'
वहां महिलाओं और पुरूषों के लिए शौचालय भी बना हुआ है। मैंने उनसे पूछा कि क्या वह साफ है। उन्होंने कहा कि साफ होगा। मैंने चलकर देखने की बात की और उनके साथ उसे देखने गया। वह न तो साफ था और न ही पुरूष वाले शौचालय में पानी का नल ठीक था। 

वहां पर खाने पीने की दुकानें थी। जिसमे लोग खा रहे थे और झूठा गंदगी वहीं फेंक रहे थे।  मैने उन्हें दो सुझाव दिये, 
  • पहला, आप शौचालय का प्रयोग करने के लिए पैसा लें और उस पैसे से उसकी देख-रेख करें और सफाई करवायें। मैंने उन्हे इस बारे में सिक्किम यात्रा के अनुभवों को बताया। जब यह वहां हो सकता है तो यहां क्यों नहीं।  
  • दूसरा, यहां पर कूड़ादान रखा हुआ है।  उसमें कूड़ादान के अन्दर एक प्लास्टिक रखें ताकि लोग खाकर उसी में फेंके और उसके बाद वह प्लास्टिक बांध कर बाहर निकाल ली जाए और इसके बाद नई प्ललास्टिक लगा दी जाए। हम हिन्दुस्तानी तो एक दूसरे की देखा देखी करते है। यदि एक आदमी उस कूड़ेदान में फेकेंगा तो बाकी सब लोग भी फेंका करेगे। इससे सफाई कर्मचारियों को सुविधा रहेगी और आने वालों को भी अच्छा लगेगा।
उन्होंने कहा,
'आपका सुझाव अच्छा है। आप जब अगली बार आयेगें तो आप की दोनो बातों पर अमल हो रहा होगा।'
आप जब वहां जायें और ऐसा होता पायें तो मुझे अवश्य धन्यवाद दीजियेगा।
'उन्मुक्त जी, वे सुन्दर लड़कियां कहां हैं, जिससे आपने मिलावाने को कहा था।'
उनसे तो मुलाकात, अगली बार होगी।

देव भूमि, हिमाचल की यात्रा
वह सफेद चमकीला कुर्ता और चूड़ीदार पहने थी।। यह तो धोखा देने की बात हुई।। पाडंवों ने अज्ञातवास पिंजौर में बिताया।। अखबारों में लेख निकले, उसके बाद सरकार जागी।। जहां हिन्दुस्तान और पाकिस्तान के बंटवारे की बात हुई हो, वहां मीटिंग नहीं करेंगे।। बात करनी होगी और चित्र खिंचवाना होगा - अजीब शर्त है।। हनुमान जी ने दी मजाक बनाने की सजा।। छोटे बांध बनाना, बड़े बांध बनाने से ज्यादा अच्छा है।। लगता है कि विंडोज़ पर काम करना सीख ही लूं।। गाड़ी से आंटा लेते आना, रोटी बनानी है।। बच्चों का दिमाग, कितनी ऊर्जा, कितनी सोचने की शक्ति।। यह माईक की सबसे बडी भूल थी।। भारत में आधारभूत संरचना है ही नहीं।। सुनते तो हो नहीं, जो करना हो सो करो।। रानी मुकर्जी हों साथ, जगह तो सुन्दर ही लगेगी।। उसकी यह अदा भा गयी।। यह बौद्व मंदिर है न कि हिन्दू मंदिर।। रास्ता तो एक ही है, भाग कर जायेंगे कैसे।। वह कुछ असमंजस में पड़ गयी।। हमने भगवान शिव को याद किया और आप मिल गये।। अपनी टूर दी फ्रांस - हिमाचल की साइकिल रेस।। और वह शर्मा गयी।। पता नहीं हलुवा घी में,  या घी हलुवे में तैर रहा था।। अभी तक इसका पैसा नहीं निकल पाया है।। नग्गर में, रोरिख संग्रहालय।। मेरे दिल में आज क्या है।। आप, क्यों नहीं, इसके बाल खींच कर देखते।। तुमसे मिल कर, न जाने क्यों और भी कुछ याद आता है।। हम हिन्दुस्तानी तो एक दूसरे की देखा देखी करते हैं।।

हिन्दी में नवीनतम पॉडकास्ट Latest podcast in Hindi
सुनने के लिये चिन्ह शीर्षक के बाद लगे चिन्ह ► पर चटका लगायें यह आपको इस फाइल के पेज पर ले जायगा। उसके बाद जहां Download और उसके बाद फाइल का नाम अंग्रेजी में लिखा है वहां चटका लगायें।:
Click on the symbol ► after the heading. This will take you to the page where file is. his will take you to the page where file is. Click where ‘Download’ and there after name of the file is written.)
यह पॉडकास्ट ogg फॉरमैट में है। यदि सुनने में मुश्किल हो तो दाहिने तरफ का विज़िट, 
'मेरे पॉडकास्ट बकबक पर नयी प्रविष्टियां, इसकी फीड, और इसे कैसे सुने
  
 






About this post in Hindi-Roman and English is chitthi mein, kufri aur vhan per ho rahe dangal kee harcha hai.  yeh {devanaagaree script (lipi)} me hai. ise aap roman ya kisee aur bhaarateey lipi me padh sakate hain. isake liye daahine taraf, oopar ke widget ko dekhen.

This post talks about Kufri and wrestling competition there. It is in Hindi (Devnagri script). You can read it in Roman script or any other Indian regional script also – see the right hand widget for converting it in the other script.

सांकेतिक शब्द
Travel, Travel, travel and places, Travel journal, Travel literature, travel, travelogue, सैर सपाटा, सैर-सपाटा, यात्रा वृत्तांत, यात्रा-विवरण, यात्रा विवरण, यात्रा विवरण, यात्रा संस्मरण, मस्ती, जी भर कर जियो,  मौज मस्ती,

8 comments:

  1. चलिए कुछ और इंतज़ार करते हैं मिलने का :)

    ReplyDelete
  2. कट ही जायेंगे इन्तजार के कुछ और दिन भी :)

    ReplyDelete
  3. पूरी दुनिया में यही हाल है, सभी देखा देखी ही करते हैं...

    ReplyDelete
  4. सही कह रहे हैं. देखादेही ही तो है.

    ReplyDelete
  5. धन्यवाद तो अभी दिये देते हैं जी
    हमें आशा है कि आपके कहे अनुसार पूरा अमल हो रहा होगा। जब जायेंगें तो आकर आपको जरूर बतायेंगे और साथी पर्यटकों को भी आपके बारे में बतायेंगें।

    प्रणाम

    ReplyDelete
  6. कुफरी के आलू संस्थान की तो बात ही नहीं की आपने और क्या खरीदा वरीदा ..मैंने कुछ वूदें आईटम लिए थे और याक के संग फोटो खिंचाई थी !

    ReplyDelete
  7. रोचक संस्मरण। अच्छा है आप घूमते रहें ताकि कुछ तो सफाई होती रहे। जरूर कोई पहाडी लडकी होगी जिस से मिलवाने की बात कर रहे हैं। सही बात है न। शुभकामनायें।

    ReplyDelete
  8. आशा है आपके सुझाव मूर्त स्वरूप ले लें। अगली पोस्ट की व्यग्रता से प्रतीक्षा है।

    ReplyDelete

आपके विचारों का स्वागत है।