Monday, January 24, 2011

क्या टैटूईन ग्रह की तरह हमारे भी दो सूरज होंगे

इस चिट्ठी में, स्टार वारस् फिल्म श्रृंखला,  औरायन तारा समूह के दूसरे सबसे चमकीले तारे बीटलजूस (या बॅटेलजऍस) के सूपरनोवा बनने की चर्चा है।
टैटूईन ग्रह में सर्यास्त का दृश्य
'उन्मुक्त जी, क्या टैटूईन नया ग्रह मिल गया है? क्या यह ज्योतिष को गलत सिद्ध कर देगा?'
नहीं भाई, नहीं बहना। मैं तो ज्योतिष के बारे में बात नहीं करना चाहता। मैं एक श्रृंखला लिख कर काफी परेशानी झेल चुका हूं। टैटूईन तो प्रसिद्ध विज्ञान कहानी फिल्म श्रंखला 'स्टार वॉरस्' का  काल्पनिक ग्रह है। इस फिल्म का हीरो ल्यूक स्काईवऑकर इस ग्रह के  शहर ट्यूनिसिआ में रहता है। यहां दो सूरज हैं।

इस फिल्म श्रृंखला में छः फिल्में हैं। सबसे पहली फिल्म 'स्टार वारस्' थी। इसका बाद में नाम 'द न्यू होप', रख दिया गया। यह इस फिल्म की चौथी कड़ी थी। उसके बाद इसकी दो उत्तर फिल्में 'द एम्पायर स्ट्राइक बैक' और 'रिटर्न ऑफ द ज़ेदाई' नाम से बनी। यह इस श्रृंखला की पांचवी और छटी कड़ी थीं।

इसके बाद इसकी तीन पूर्व कथायें 'द मैनस ऑफ फैंटम', 'अटैक ऑफ द क्लोंस्' और' 'रिवेंज ऑफ द सिथ' बनी। यह इस श्रृंखला की पहली, दूसरी, और तीसरी कड़ी थी।

'स्टार वारस्' फिल्म १९७७ में बनी थी। १९९७ में, इसकी बीसवीं वर्षगांठ पर, इसे स्पेशल एफेक्टस् के साथ पुनः जारी किया गया। ऊपर का दृश्य इस फिल्म से है।
'उन्मुक्त जी, हमारा दूसरा सूरज कहां से आयेगा?'
 आकाश में बहुता से तारा समूह हैं। शृंखला 'ज्योतिष, अंक विद्या, हस्तरेखा विद्या, और टोने-टुटके' लिखते समय, मैंने इसकी कड़ी 'राशियां Signs of Zodiac' में तारा समूहों की चर्चा की थी। इसमें एक तारा समूह है मृगशीर्ष (हिरन- हिरनी) या Orion (ऑरायन) है।
यह चित्र हबल टेलेस्कोप की वेबसाइट से है।
इस तारा समूह को अपने यहां हिरण और ग्रीस में शिकारी के रूप में देखा गया है पर मुझे तो यह तितली सी लगती है। यह आजकल शाम से दिखाय़ी पड़ता है। इसे आप आसानी से पहचान सकते हैं।  

तारा समूह के चित्र में बांयी तरह के एक तारे पर पीले रंग का x बना है। यही तारा बीटलजूस (या बॅटेलजऍस) है। इस समय यह लाल दैत्याकार तारा है जिसका चित्र बायी तरफ दिखाया गया है।
'उन्मुक्त जी, यह बीटलजूस दूसरा सूरज कैसे बनेगा?'
'बाईबिल, खगोलशास्त्र, और विज्ञान कहानियां' श्रृंखला की  कड़ी 'तारों का अन्त कैसे होता है' लिखते समय मैंने लाल दैत्याकार तारों और अधिनव तारा (Super nova) (सुपरनोवा), या नोवा (Nova), की चर्चा की थी। वहीं यह बात भी विस्तार से बतायी है।

बीटलजूस अपने सूरज से २० गुना ज्यादा भारी है। इसलिये यह तारा अधिनव तारा बन सकता है। यह शायद इस साल हो। इसलिये इसे दूसरा सूरज कहा जा रहा है।
'उन्मुक्त जी, तब क्या टैटूईन की तरह, हमारी पृथ्वी पर इसी तरह का दृश्य दिखायी देगा?'
इस समय रात के आकाश में, बीटलजूस, आकाश में आठवां और ऑरायन तारा समूह का दूसरा चमकीला तारा है। यदि यह सुपरनोवा बनता है तब यह रात के आकाश में सबसे चमकीला तारा हो जायगा लेकिन दूसरा सूरज नहीं बन पायेगा। शायद यह पूर्णमासी के चांद के बराबर हो पर दिन में न दिखायी पड़े। हांलाकि सबसे प्रसिद्घ सुपरनोवा, १०५४ ईसवी में देखा गया था। इसके बारे में चीन और अरब के खगोलशास्त्रियों ने लिखा है। यह दिन में भी, २३ दिन तक, और ६५५ रातों में यानि कि लगभग दो साल तक दिखायी पड़ा।
'क्या, जैसा मायन कैलेंडर कहता है, हमारी पृथ्वी में प्रलय आ जायेगी?'

बीटलजूस हमसे बहुत दूर है - लगभग ६०० प्रकाश वर्ष। इसलिये  इसलिये हो सकता है कि यह सुपरनोवा बन चुका हो। इसके बनने के ६०० साल बाद ही हमें उसका पता चलेगा। लेकिन खगोलशास्त्री कहते हैं कि इसकी जानकारी हमें इस साल के अन्त तक मिल सकती है।

 मायन कैलेंडर के मुताबिक तो २०१२ पृथ्वी का अन्तिम वर्ष है। यही कारण है कि आजकल तरह तरह की खबरें प्रकाशित हो रही हैं। किसी सुपरनोवा के द्वारा पृथ्वी पर तभी नुकसान हो सकता है जब वह हमसे केवल २५ प्रकाश या इससे कम दूरी पर हो। आप निश्चिन्त रहें। इससे हमारी पृथ्वी को कोई मुश्किल नहीं है। हमारे अन्त का कारण हम ही होंगे न कि कोई खगोलीय घटना।

 यह घटना कयामत का अग्रदूत न हो कर खगोलशास्त्र के लिये सैकड़ो सालों में होनावाला सबसे बड़ा फायदा है। 

इसके बारे एक छोटा सा विडियो देखिये। इसे देख कर आप इसे आसानी से आकाश में पहचान पायेंगे।

मुन्ना हमारा बेटा कुछ दिनों पहले भारत आया था। हमें उसके साथ दिल्ली में समय बिताने का मौका मिला। हम लोग वहां नेहरू तारा घर भी गये। वहां आजकल 'चन्द्रशेखर तारों के सहयात्री' नामक प्रोग्राम चल रहा है। चन्द्रशेखर ने अपना महत्वपूर्ण काम ब्लैक होल्स् पर किया है। इस प्रोग्राम में ब्लैक होलस् और अधिनव तारों के बारे में अच्छी जानकारी है। आप भी अपने बेटे और बेटियों के साथ यह प्रोग्राम देखें। 

यदि आपने स्टार वॉर्स्  फिल्म श्रंखला नहीं देखी है तब अवश्य देखें पर अपने बच्चों के साथ। आपको पसन्द आयेगी। उनके साथ ज्यादा समझ में भी आयेगी।

रात में सोने से पहले ऑरायन और बीटलजूस को देखना भी न भूलियेगा। घर वालों और पड़ोस के लोगों को दिखाइयेगा और यह भी बताइयेगा कि कोई प्रलय नहीं आने वाली है।

अरविन्द जी ने भी यहां इसके बारे में लिखा है उसे भी देखिये। कृपया नीरज जी की नीचे टिप्पणी भी देखें। उसके बाद मैंने कुछ संशोधन भी किया है और यह आपको इसे ढूढने में मदद भी करेगी।  

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About this post in Hindi-Roman and English 
is chitthi mein prasiddh vigyaan film shrnkhla star wars aur orion tara smooh ka tare betelgeuse ke supernova bnne kee  charcha hai.  yeh {devanaagaree script (lipi)} me hai. ise aap roman ya kisee aur bhaarateey lipi me padh sakate hain. isake liye daahine taraf, oopar ke widget ko dekhe

This post is popular science fiction film series 'Star Wars', and  Orion's star Beetelgeues  becoming a supernova. It is in Hindi (Devnagri script). You can read it in Roman script or any other Indian regional script also – see the right hand widget for converting it in the other script.

सांकेतिक शब्द

12 comments:

  1. बहुत बढ़िया जानकारी उन्मुक्त जी.
    क्या आपको पता है, 7600 प्रकाश वर्ष दूर कैनिस मेजर नामक तारा इतना बड़ा है कि उसका व्यास सौरमंडल के बराबर है. यदि वह फूटबाल के बराबर होगा तो हमारा सूरज उसके सामने धूल के कण जैसा दिखेगा.

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  2. उन्मुक्त जी,
    बेहतरीन प्रविष्टी! इसमें एक छोटा सा संशोधन कर लें कि ये घटना होने को इसी वर्ष हो सकती है और क्या पता हो भी चुकी हो( चूंकि इसकी खबर ६०० वर्षों बाद हमें मिलेगी) और न हो तो इस खगोलीय घटना के होने में सैकडों/हजारों अथवा दस लाख साल तक लग सकते हैं।

    हमारे शहर ह्यूस्टन में हमें कुछ मित्र मिले हैं जो रात को अन्तरिक्ष में मानवनिर्मित उपग्रह, स्पेस स्टेशन इत्यादि खोजते हैं। एक वेबसाईट है http://www.heavens-above.com जहां आप अपने स्थान की जानकारी डालें तो आप जान सकते हैं कि रात को किस दिशा से किस समय कौन सा उपग्रह तेज गति से जाता दिखायी देगा।

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  3. उन्मुक्त जी लिंक के लिए शुक्रिया ,मुझे लगता है कि आम लोगों को मृगशीर्ष तारासमूह की लोकेशन और इस तारे को देखने का टिप्स देना चाहिए ..मतलब इसके लिए वे आसमान में कब और कहाँ देखें ! हो सके तो इसे यहाँ और जोड़ दें !

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  4. रोचक है, कृपया जारी रखें यह सिलसिला.

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  5. चैनल (मीडिया) वाले तो रोज ही ला देते हैं..

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  6. कोई भी लाल महादानव तारा कब सूपरनोवा बनकर अपनी मृत्यू को प्राप्त होगा यह कोई नही बता सकता है। किसी भी ज्योतिषि ने इन तारो की जन्मकुंडली नही बनायी है जिससे को भी भविष्यवाणी कर सके कि यह तारा इस दिनांक को इस मूहूर्त मे सूपरनोवा विस्फोट को प्राप्त होगा !
    जो भी ऐसी भविष्यवाणी करता है वह वैज्ञानिक नही छद्म वैज्ञानिक है, इसे २०१२ से जोड़ना तो और भी बड़ी मुर्खता !
    गूज बीटल नामका यह लाल महादानव (Red Super Giant) कब सूपरनोवा बनेगा, शायद आज रात या आज से लाखो वर्ष बाद कोई नही जानता। शायद बन भी गया हो, पृथ्वी पर तो उसके सूपरनोवा बनने के ६४० वर्ष बाद ही पता चलेगा !

    क्या बाह्य अंतरिक्ष मे जीवन है ? :परग्रही जीवन श्रंखला

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  7. कुछ नयी जानकारियाँ मिल रही हैं. science fiction जैसा ही लग रहा है.

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  8. बहुत बढ़िया जानकारी...

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  9. अगर दो सूरज हो गये, तो बड़ा अटपटा हो जायेगा, दिन का सफर।

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  10. उन्मुक्त जी,
    मेरे सुझाव पर ध्यान देने के लिये शुक्रिया । जैसा कि आशीष ने भी कहा है, इस बात की कोई गारण्टी नहीं है कि ये तारा सुपरनोवा बनकर कब मृत्यु को प्राप्त होगा । होने को ये कल हो सकता है और अगले दस लाख वर्ष तक भी न हो तो किसी खगोल-शास्त्री को ताज्जुब नहीं होगा। ऐसे में ये कहना कि ये इस वर्ष होगा अथवा इस वर्ष के अन्त तक हमें कोई जानकारी मिलेगी, इसकी मात्र एक सम्भावना ही है ।

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  11. विज्ञान पत्रकारिता कैसे कार्य करती है , इस पर एक मजेदार कार्टून
    http://www.apenotmonkey.com/2011/01/24/how-science-journalism-works/

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  12. ये तो वक्‍त ही बताएगा।

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    क्‍या आपको मालूम है कि हिन्‍दी के सर्वाधिक चर्चित ब्‍लॉग कौन से हैं?

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आपके विचारों का स्वागत है।